पाकिस्तान को एक बूंद नहीं मिलेगा पानी-सीआर पाटील
पहलगाम हमले के बाद देश में पाकिस्तान को लेकर गुस्सा है. भारत सरकार पर आतंक के आका पाकिस्तान पर कार्रवाई करने के लिए दवाब है. पहलगाम हमले के बाद केंद्र सरकार ने पाकिस्तान के खिलाफ तत्काल बड़ी कार्रवाई करते हुए सिंधु जल संधि पर रोक लगा दी. अब भारत ऐसा काम कर रहा है जिससे वह पाकिस्तान को पानी की एक बूंद भी नही मिले.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक केंद्रीय जल शक्ति मंत्री सीआर पाटिल ने कहा है कि भारत, पाकिस्तान को एक बूंद भी पानी नहीं देने के लिए काम कर रहा है. उन्होंने को बताया कि इसके लिए सरकार तीन योजनाओं पर काम कर रही है. एक लंबी अवधि का प्लान, एक कम समय का प्लान और एक मध्यम अवधि का प्लान. इन तीनों प्लान के जरिए भारत सरकार सुनिश्चित करेगी की पाकिस्तान को पानी की सप्लाई न हो.
सिंधु जल संधि पर अमित शाह के घर बड़ी बैठक
पाकिस्तान को पानी की सप्लाई रोकने के लिए केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के घर पर बड़ी बैठक हुई. इस बैठक में पाकिस्तान के साथ 1960 की सिंधु जल संधि पर चर्चा हुई. यह मीटिंग इसी बारे में थी कि आगे क्या करना है. मीटिंग में कई सुझाव दिए गए. मंत्रियों ने आपस में कई पहलुओं पर विचार किया. सूत्रों के मुताबिक भारत हर चुनौती का सामना करने के लिए तैयार है. इसमें कानूनी चुनौतियां भी शामिल हैं. सूत्रों ने कहा, ‘अगर पाकिस्तान वर्ल्ड बैंक जाता है, तो भारत ने अपनी प्रतिक्रिया तैयार कर ली है और वह प्रभावी ढंग से जवाब देगा.
सिंधु संधि पर फैसला जल्द से जल्द अमल में लाया जाएगा.अमित शाह के घर पर हुई इस बैठक में सिंधु जल संधि पर लिए गए फैसले को जल्द से जल्द अमल में लाने की बात कही गई. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इस बैठक में यह फैसला लिया गया है कि एक बूंद भी पानी पाकिस्तान न जाए, इसकी व्यवस्था बनाने की बात कही गई है.
सिंधु जल संधि पर शाह के घर बैठक में बड़ा फैसला
अमित शाह के घर हुई बैठक में सिंधु जल संधि को लेकर कई बड़े फैसले लिए गए. पाकिस्तान जा रहा सिंधु का पानी तुरंत रोका जाएगा. बैठक में इस बात पर चर्चा हुई कि सिंधु का पानी भारत में स्टोर करने के लिए बांधों की क्षमता बढ़ाई जाएगी. आधुनिक तकनीक से बांधों की क्षमता बढ़ाई जाएगी, ताकि ज़्यादा पानी स्टोर हो सके. बांध की क्षमता बढ़ाने जाने के लिए बांधों की तलहटी में मौजूद गाद को हटाने जाने पर भी चर्चा हुई. साथ ही बैठक में इस बात पर चर्चा हुई कि वर्ल्ड बैंक ने यह संधि कराई थी इसलिए भारत सरकार अपने फैसले की जानकारी वर्ल्ड बैंक को भी दी जाएगी.
सिंधु समझौता रोकने पर भारत ने क्या तर्क दिए ?
भारत ने सिंधु जल समझौता को रोकने को लेकर पाकिस्तान को भी जानकारी दी है और इसके लिए कारण भी बताए गए पाकिस्तान के जल संसाधन विभाग के अधिकारी अली मुर्तजा को लिखे पत्र में कहा गया कि पाकिस्तान द्वारा जम्मू और कश्मीर में लगातार आतंकवाद फैलाने से सिंधु जल संधि के तहत भारत के अधिकारों में बाधा आ रही है. पत्र में आगे लिखा गया कि ‘किसी भी संधि का ईमानदारी से पालन करना उस संधि का मूल आधार होता है. लेकिन, हमने इसके विपरीत देखा है. पाकिस्तान लगातार जम्मू और कश्मीर में आतंकवाद फैला रहा है.
1960 में वर्ल्ड बैंक की मध्यस्थता पर हुई थी संधि
सिंधु जल संधि 1960 में भारत और पाकिस्तान के बीच विश्व बैंक की मध्यस्थता में हुई थी, जिसके तहत भारत ने तीन पूर्वी नदियों का जल उपयोग करने का अधिकार रखा था, जबकि तीन पश्चिमी नदियों का बहाव पाकिस्तान को दिया गया था.
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