गृहमंत्री Amit Shah का बड़ा ऐलान, Ladakh मे बनेंगे 5 नए जिले

केंद्र सरकार ने Ladakh में 5 नए जिले बनाने की घोषणा की है. Amit Shah के मुताबिक, लद्दाख में 5 नए जिले जांस्कर, द्रास, शाम, नुब्रा और चांगथांग बनाए जाएंगे.

Written By : अभिनव कुमार | Updated on: August 26, 2024 4:38 pm

गृहमंत्री  Amit Shah ने  ये जानकारी देते हुए कहा कि विकसित और समृद्ध  Ladakh बनाने के पीएम मोदी के दृष्टिकोण के तहत, गृह मंत्रालय ने केंद्र शासित प्रदेश में पांच नए जिले बनाने का निर्णय लिया है.

नए जिलों की घोषणा से पहले लद्दाख में केवल दो जिले थे, लेह और कारगिल। अब इनकी संख्या बढ़कर 7 हो जाएगी।

Amit Shah ने क्या कहा?

केंद्रीय गृह मंत्री Amit Shah ने अपने हालिया एक्स पोस्ट में लिखा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकसित और समृद्ध Ladakh के निर्माण के दृष्टिकोण के अनुसरण में, गृह मंत्रालय ने केंद्र शासित प्रदेश में पांच नए जिले बनाने का फैसला किया है। नए जिले, जिनके नाम ज़ांरकर, द्रास, शाम, नुब्रा और चांगथांग है, हर गली-मोहल्ले में शासन को मजबूत करके लोगों के लिए लाभ उनके दरवाजे तक पहुंचाएंगे.
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा है कि मोदी सरकार Ladakh के लोगों के लिए प्रचुर अवसर पैदा करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस फैसले को लेकर एक पोस्ट में कहा कि लद्दाख में पांच नए जिलों का निर्माण बेहतर शासन और समृद्धि की दिशा में एक कदम है। ज़ांस्कर, द्रास, शाम, नुब्रा और चांगथांग पर अब अधिक ध्यान दिया जाएगा, जिससे लोगों को सेवाएं और अवसर और भी करीब आएंगे। वहां के लोगों को बधाई।

नए जिलों के ऐलान पर PM मोदी ने दी बधाई

प्रधानमंत्री मोदी ने नए जिलों के गठन की सराहना करते हुए इसे बेहतर शासन और समृद्धि की दिशा में एक कदम बताया। उन्होंने कहा कि इन जिलों पर अब अधिक ध्यान केंद्रित किया जाएगा, जिससे सेवाओं और अवसरों को लोगों के और करीब लाया जा सकेगा। प्रधानमंत्री ने इस घोषणा पर लद्दाख के लोगों को बधाई दी।

लद्दाख को पूर्ण राज्य का दर्जा दिलाने की भी मांग

Ladakh के लोग पूर्ण राज्य का दर्जा और छठी अनुसूची की मांग कर रहे हैं। इनका कहना है कि अगर पूर्ण राज्य न भी हो तो विधानसभा के साथ केंद्रशासित प्रदेश होना ही चाहिए। 4 मार्च को लद्दाख के दो प्रमुख संगठन लेह एपेक्स बॉडी यानी ABL और कारगिल डेमोक्रेटिक अलायंस यानी KDA के साथ गृह मंत्रालय की बैठक हुई थी। तब गृह मंत्रालय से लद्दाख को पूर्ण राज्य का दर्जा और स्पेशल स्टेटस बरकरार रखने की मांग की गई थी।

Ladakhमें इन मांगों को लेकर प्रदर्शन

स्थानीय स्तर पर Ladakh में 4 मांगों को लेकर लंबे वक्त से सरकार के खिलाफ प्रदर्शन जारी है. इनमें पहली बड़ी मांग राज्य का दर्जा है. स्थानीय लोगों का कहना है कि केंद्रशासित प्रदेश होने की वजह से उनकी राजनीतिक और प्रशासनिक हिस्सेदारी कम हो गई है.

दूसरी मांग लद्दाख को संविधान के छठे शेड्यूल में शामिल किए जाने की है.

तीसरी मांग विकास काम के ठेकेदारी को लेकर है. इसके तहत Ladakh के विकास की ठेकेदारी उन्हें ही मिले, जो यहां के मूल निवासी हैं .

चौथी मांग लद्दाख में शक्ति विभाजन की है. मार्च 2024 में केंद्र सरकार ने इन मांगों पर वहां के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की थी, लेकिन तब बात नहीं बन पाई. इसका नतीजा लोकसभा चुनाव में देखने को मिला.
बीजेपी के प्रत्याशी लद्दाख में तीसरे नंबर पर पहुंच गए, जबकि 2014 और 2019 में उसे यहां जीत मिली थी.

ये भी पढ़ें :-
पाकिस्तान के Balochistan में आतंकियों ने हाईवे पर 23 यात्रियों की हत्या की

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *