चक्रवात दाना (Dana) : ओडिशा में हाई अलर्ट, रात भारी,10 लाख लोगों का हो रहा सुरक्षित स्थानांतरण

चक्रवात दाना के चलते ओडिशा के तटीय क्षेत्रों में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। 100-120 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली तेज़ हवाओं और भारी बारिश के साथ यह चक्रवात 24 अक्टूबर की रात को भितरकनिका और धामरा के बीच टकराएगा। सरकार ने करीब 10 लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने के लिए राहत और बचाव कार्य तेज कर दिए हैं।

Dana
Written By : MD TANZEEM EQBAL | Updated on: October 24, 2024 9:03 pm

ओडिशा के तटीय क्षेत्रों में आने वाले चक्रवात दाना (Dana) के गंभीर प्रभाव को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार ने सभी संबंधित विभागों और प्रशासनिक इकाइयों को हाई अलर्ट पर रखा है। भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के अनुसार, यह चक्रवात पूर्व-मध्य बंगाल की खाड़ी में विकसित हो चुका है और 24 अक्टूबर की रात को ओडिशा के भितरकनिका और धामरा क्षेत्रों के बीच टकराएगा। इस दौरान 100 से 120 किमी प्रति घंटे की तेज़ रफ्तार से हवाएं चलने का अनुमान है, जिससे बड़े पैमाने पर नुकसान की आशंका है।

चक्रवात से प्रभावित जिलों में जारी हुआ अलर्ट

IMD के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने बताया कि चक्रवात के कारण ओडिशा के जगतसिंहपुर, केंद्रापड़ा, भद्रक, बालासोर और पश्चिम बंगाल के पूर्वी मेदिनीपुर जिलों में तेज़ हवाओं के साथ मूसलाधार बारिश हो सकती है। कुल मिलाकर 14 जिलों में इसका व्यापक असर पड़ सकता है। भारी बारिश के साथ-साथ तेज़ हवाओं के चलते इन क्षेत्रों में जनजीवन बाधित होने की पूरी संभावना है।

निचले इलाकों में जलभराव का खतरा

IMD के भुवनेश्वर केंद्र के वैज्ञानिक उमाशंकर दास ने बताया कि चक्रवात के टकराने के समय समुद्र की लहरों का स्तर सामान्य से काफी ऊपर उठ सकता है, जिससे केंद्रापड़ा, भद्रक और बालासोर के निचले इलाकों में जलभराव की स्थिति उत्पन्न हो सकती है। प्रशासन ने इन क्षेत्रों में राहत और बचाव कार्यों के लिए विशेष टीमें तैनात की हैं और लोगों को निचले और संवेदनशील इलाकों से सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।

सरकार की व्यापक तैयारियां और राहत कार्य

राज्य के राजस्व और आपदा प्रबंधन मंत्री सुरेश पुजारी ने कहा कि सरकार ने इस चक्रवात (Dana) के मद्देनज़र राहत कार्यों के लिए करीब 5,000 शरणस्थलों और राहत केंद्रों की स्थापना की है। प्रभावित क्षेत्रों से लगभग 10 लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित करने की योजना है। शासन ने यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए थे कि बुधवार शाम तक सभी संवेदनशील क्षेत्रों से लोगों को पूरी तरह सुरक्षित शरणस्थलों में पहुंचा दिया जाए।

मंत्री पुजारी ने यह भी कहा कि सरकार ने संभावित स्थिति से निपटने के लिए आवश्यक राहत सामग्री और आपातकालीन सेवाओं को पहले से तैयार रखा है। इसके साथ ही, चिकित्सा टीमों, बिजली और संचार सेवाओं की बहाली के लिए विशेष टीमों को तैनात किया गया है।

कच्चे मकानों और फसलों को हो सकता है नुकसान

IMD के पूर्वानुमान के अनुसार, चक्रवात के कारण कई इलाकों में कच्चे मकान, झोपड़ियां और छोटे घरों को भारी नुकसान हो सकता है। साथ ही, तेज़ हवाओं और भारी बारिश के चलते बिजली और संचार लाइनों में बाधा आने की संभावना है। कृषि क्षेत्रों में भी फसलों को नुकसान हो सकता है, खासकर उन इलाकों में जहां फसलें कटने की स्थिति में हैं।

सरकार ने Dana की स्थिति पर नज़र रखते हुए राहत और बचाव कार्यों के लिए सभी विभागों को सतर्क रहने और लोगों को समय पर सुरक्षित स्थानों पर ले जाने के निर्देश दिए हैं।

यह भी पढ़ें: –BRICS 2024: PM Modi बोले- ‘युद्ध नहीं, बातचीत और कूटनीति ही रास्ता’

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *